निवेशकों से किए गए हर वादे पर खरा उतर रहे योगी आदित्यनाथ
- संदीप कुमार
यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने प्रदेश की विकास यात्रा में औद्योगिक समूहों को सहभागी बनाने के प्रदेश सरकार के संकल्प को साझा करते हुए उन्हें भरोसा दिलाया है कि निवेशकों से किए वादे को धरातल पर उतारने में कोई संकोच नहीं किया जाएगा। मुख्यमंत्री का मानना है कि आज यूपी, भारत के विकास का बैरियर नहीं बल्कि प्रधानमंत्री मोदी के विकसित भारत बनाने के संकल्प को सिद्धि तक पहुंचाने के लिए देश के ग्रोथ इंजन के रूप में कार्य कर रहा है। निवेशकों को सहूलियत देने के लिए शासन की नीति के तहत डबल इंजन की सरकार सारे बैरियर तोड़ेगी। अपराध, अपराधी और भ्रष्टाचार के खिलाफ हमारी सरकार जीरो टालरेंस की नीति पर कार्य कर रही है।
प्रदेश में आए बदलाव का जिक्र करते हुए योगी ने बताया कि वर्ष 2017 के पहले उत्तर प्रदेश में अव्यवस्था, अराजकता और अपराध का माहौल था, क्योंकि पूर्ववर्ती सरकार के पास कोई विजन नहीं था। आज प्रदेश में कानून का राज और निवेश का बेहतर माहौल है। यही वजह है कि निवेश के मामले में यूपी भारत का ड्रीम डेस्टिनेशन बन गया है। उन्होंने विपक्ष पर कटाक्ष करते हुए बताया कि जिनके लिए प्रदेश में निवेश के बारे में सोचना भी असंभव था। वो देख लें, हमारी सरकार ने असंभव को संभव करके दिखाया है। फरवरी 2023 में आयोजित ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट के माध्यम से प्रदेश को 40 लाख करोड़ रुपये से ज्यादा के निवेश प्रस्ताव प्राप्त हो चुके हैं। इनमें 10 लाख करोड़ रुपये से ज्यादा के निवेश प्रस्ताव ग्राउंड ब्रेकिंग सेरेमनी के माध्यम से धरातल पर उतर चुके हैं। सदैव जनता के हित-कल्याण, राष्ट्रीयता और हिन्दुत्व के लिए कुछ भी कर गुजरने की इच्छा शक्ति, कठोर निर्णय लेने वाले व्यक्ति होना ही योगी की सफलता का मूलमंत्र है। योगी आदित्यनाथ 1998 में पहली बार जब 12 वीं लोकसभा (1998-99) के लिए चुने गए तो सबसे कम 26 साल की उम्र के सांसद थे। 1998 से लगातार हैं गोरखपुर से सांसद रहे। वे गोरखपुर से लगातार पांच बार (1998, 1999, 2004, 2009 और 2014 के चुनावों में) संसद के लिए चुने गए। योगी का मानना है कि सुरक्षा का बेहतरीन माहौल में ही निवेश आता है। जब व्यक्ति ही सुरक्षित नहीं रहेगा तो पूंजी कैसे सुरक्षित रह पायेगी। सरकार की अपराध और अपराधियों के प्रति जीरो टाॅलरेंस नीति से उन लोगों और उनके आकाओं को परेशानी होती है, जिनके लिए अपराध ही पेशा था। गोरखपुर में गीडा के सेक्टर 27 में बहुराष्ट्रीय कम्पनी पेप्सिको की फ्रेंचाइजी मेसर्स वरुण बेवरेजेज के 1170 करोड़ रुपये के निवेश से लगी यूनिट (शीतल पेय बाॅटलिंग एवं डेयरी उत्पाद संयंत्र) का औपचारिक उद्घाटन करने के बाद समारोह को संबोधित किया। ब्रज क्षेत्र के विकास पर योगी का फोकस, वृंदावन बाईपास से व्यापार और उद्योग को रफ्तार मिलेगी। धार्मिक और सांस्कृतिक धरोहरों के विकास को लेकर वे विशेष रूप से सक्रिय हैं। उनके नेतृत्व में राज्य के प्रमुख धार्मिक स्थलों का नवीनीकरण और विकास तेजी से हो रहा है। योगी जी के नेतृत्व में उत्तर प्रदेश में बुनियादी ढांचे के विकास को तेजी से आगे बढ़ाया जा रहा है। योगी सरकार की विकासोन्मुखी प्रयासों को देखते हुए केंद्र सरकार भी यूपी में विकास में सहयोग करने से पीछे नहीं है। वृंदावन में 16.75 किलोमीटर लंबे बाईपास का निर्माण, पीएम गति शक्ति पहल के तहत प्रस्तावित है। इस परियोजना से जहां श्रद्धालुओं के लिए बांके बिहारी के दर्शन आसान होंगे। साथ ही व्यापार और उद्योगों को भी बढ़ावा मिलेगा।
मुख्यमंत्री योगी धार्मिक और सांस्कृतिक धरोहरों के विकास को लेकर विशेष रूप से सक्रिय हैं। उनके नेतृत्व में राज्य के प्रमुख धार्मिक स्थलों का नवीनीकरण और विकास तेजी से हो रहा है। योगी सरकार की इस दिशा में की गई पहल से न केवल श्रद्धालुओं को बेहतर सुविधाएं मिल रही हैं, बल्कि इन स्थलों के आसपास के क्षेत्रों में भी व्यापार, पर्यटन और रोजगार के नए अवसर उत्पन्न हो रहे हैं। प्रदेश में बुनियादी ढांचे का विस्तार तीव्र गति से हो रहा है। पिछले सात सालों में योगी सरकार की नीतियों और विकास योजनाओं ने उत्तर प्रदेश को आर्थिक रूप से मजबूत किया है। बांके बिहारी के दर्शन के लिए हर साल देश-विदेश से लाखों श्रद्धालु वृंदावन पहुंचते हैं, लेकिन हाल के वर्षों में गाड़ियों की संख्या में बढ़ोत्तरी के कारण वृंदावन में जाम की समस्या बढ़ती जा रही है। प्रस्तावित वृंदावन बाईपास का निर्माण इस समस्या का समाधान करेगा। इसके चलते श्रद्धालुओं को बांके बिहारी के दर्शन करने में आसानी होगी और यात्रा का समय भी कम होगा। वृंदावन बाईपास राष्ट्रीय राजमार्ग-44 को यमुना एक्सप्रेसवे से जोड़ते हुए क्षेत्र की कनेक्टिविटी को और मजबूत करेगा। इस बाईपास के माध्यम से यात्रा का समय, जो पहले डेढ़ घंटे का था, सिर्फ 15 मिनट रह जाएगा। इसके साथ ही यह परियोजना वृंदावन में यातायात दबाव को कम करेगी, जिससे पर्यटन और औद्योगिक विकास को गति मिलेगी। वृंदावन बाईपास परियोजना का मुख्य उद्देश्य कनेक्टिविटी को बढ़ाना और क्षेत्रीय विकास को गति देना है। इससे परिवहन चुनौतियों में कमी आएगी और सामाजिक-आर्थिक विकास को भी बढ़ावा मिलेगा। बाईपास से पर्यटकों की संख्या में वृद्धि होने की उम्मीद है, जिससे स्थानीय व्यापार में तेजी आएगी। इसके साथ ही, क्षेत्रीय विकास और औद्योगिक गतिविधियों को भी नया बल मिलेगा। वृंदावन बाईपास से वृंदावन में पर्यटकों और श्रद्धालुओं की संख्या में बढ़ोतरी होगी, साथ ही व्यापार और उद्योग को भी नई दिशा मिलेगी। यह परियोजना प्रदेश के विकास के नए आयाम स्थापित करेगी और उत्तर प्रदेश को समृद्धि और प्रगति की ओर ले जाएगी। यूपी को उत्तम प्रदेश बनाने के लिए कई सुधार करने पड़े। इसके अलावा कई सेक्टोरियल पॉलिसी बनाई गई। उत्तर प्रदेश में आज निवेशकों के लिए 28 सेक्टर की अलग-अलग पॉलिसी है। इसमें हर एक निवेशक के लिए द्वार खुले हैं। पहली बार प्रदेश में सिंगल विंडो के जरिये निवेश मित्र एक साथ 450 एनओसी जारी कर रहे हैं। निवेशकों की मदद के लिए निवेश सरथी पोर्टल बना हुआ है। इसके जरिये निवेशकों को ऑनलाइन इंसेंटिव दिया जा रहा है।